उत्तर प्रदेशगोरखपुर

आजम खान के खिलाफ रामपुर जिला सेशन कोर्ट में अपील खारिज।

हर्षोंदय टाइम्स -सतीश शुक्ला /सहजनवा

आजम खान के खिलाफ रामपुर जिला कोर्ट का बड़ा आदेश

रामपुर/ गोरखपुर – (हर्षोंदय टाइम्स ) सुप्रीम कोर्ट की ओर से हुई सुनवाई के क्रम में आजम खान का पक्ष रखने के लिए हाई कोर्ट के वकीलों की टीम लखनऊ से रामपुर पहुंची थी। हालांकि, इसका फायदा आजम खान को नहीं मिल पाया। रामपुर कोर्ट में आजम खान पर सुनवाई को उनके करियर से जोड़कर देखा जा रहा था। आखिरकार उन पर आया फैसला अब उनके भविष्य को निर्धारित कर दिया है। सेशन कोर्ट के फैसले के बाद रामपुर में उप चुनाव कराए जाएंगे। आजम खान की विधायकी रद्द ही रहेगी। कोर्ट के फैसले के बाद रामपुर में विधानसभा उप चुनाव की तैयारियां शुरू हो गई हैं। चुनाव आयोग की ओर से पहले ही यहां पर 5 दिसंबर को चुनाव कराने की घोषणा की गई थी। अब देखना होगा कि चुनाव आयोग की ओर से इन तिथियों में कोई बदलाव होता है या फिर निर्धारित समय पर ही चुनाव कराए जाते हैं।

सेशन कोर्ट ने सुनवाई के बाद उनकी अपील खारिज कर दी

आजम खान के खिलाफ गुरुवार को हुई सुनवाई के बाद सेशन कोर्ट ने एमपी-एमएलए कोर्ट की ओर से दी गई सजा पर रोक लगाने से इनकार कर दिया। इसके साथ ही साफ हो गया कि अब रामपुर में विधानसभा उप चुनाव होंगे। सुप्रीम कोर्ट ने सेशन कोर्ट से मामले की सुनवाई कर फैसला देने का आदेश दिया था। इस आदेश के बाद चुनाव आयोग को चुनावी तैयारियों को शुरू करने को कहा था। अब सेशन कोर्ट की ओर से एमपी-एमएलए कोर्ट की ओर से सुनाए गए फैसले पर रोक लगाए जाने से इनकार किए जाने के बाद विधायकी को रद्द किए जाने के आदेश पर भी रोक नहीं लग पाएगी। ऐसे में रामपुर में चुनावी माहौल गरमाने के आसार हैं।

आजम के खिलाफ हुई सुनवाई =

समाजवादी पार्टी के सीनियर नेता को स्टे मिलेगा या नहीं, इस मामले पर दिन में सुनवाई शुरू हुई। सुप्रीम कोर्ट ने रामपुर की जिला अदालत को एमपी एमएलए कोर्ट के फैसले को चुनौती दिए जाने संबंधी याचिका पर गुरुवार को ही सुनवाई कर सजा सुनाने का आदेश दिया था। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद इस मसले पर सुनवाई हुई। आजम खान को हेट स्पीच के मामले में एमपी एलएमए कोर्ट ने 3 साल की सजा सुनाई गई थी। इसके बाद रामपुर जिला प्रशासन की ओर से विधानसभा को सजा के संबंध में जानकारी भेजी गई। इस रिपोर्ट के आधार पर विधानसभा सचिवालय की ओर से जन प्रतिनिधित्व अधिनियम के तहत उनकी सदस्यता को शून्य कर दिया गया।

चुनाव आयोग ने घोषित की थी तिथि –

विधानसभा सचिवालय ने जनप्रतिनिधित्व अधिनियम के तहत आजम खान की सदस्यता को समाप्त करते हुए चुनाव आयोग को रिक्त सीट पर चुनाव कराने का निर्णय लिया। चुनाव आयोग की ओर से 5 दिसंबर को चुनाव कराने की अधिसूचना जारी कर दी। इस सीट पर 10 नवंबर से नामांकन दाखिल होना था। लेकिन, आजम खान ने सुप्रीम कोर्ट में जनप्रतिनिधित्व अधिनियम के तहत सदस्यता जाने के मामले को लेकर चुनौती दी। हेट स्पीच केस में सजा के खिलाफ याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने रामपुर की जिला अदालत को सुनवाई कर सजा सुनाने का आदेश दिया था। इसी आधार पर दिन में दोनों पक्षों को सुनने के बाद कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया था।

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