उत्तर प्रदेशमहराजगंज

बुद्ध के ननिहाल देवदह पर योगी सरकार मेहरबान,बनेगासंग्रहालय ईको टूरिज्म पर भी काम

उमेश चन्द्र त्रिपाठी,

लखनऊ,महाराजगंज: प्राचीन मान्यताओं के अनुसार महराजगंज में बनर्सिहा कला उर्फ देवदह गांव को गौतम बुद्ध का ननिहाल माना जाता है। उत्तर प्रदेश पुरातत्व विभाग की ओर से की गई खोदाई में इसके कई साक्ष्य और प्रमाण भी मिले हैं। अब यहां पर पर्यटन विभाग एक म्यूजियम बनाने जा रहा है। इसके साथ ही सोहगीबरवा सेंचुरी बगल में होने से यहां पर ईको टूरिजम को बढ़ाने के लिए भी कई काम होंगे।

बता दें कि बनर्सिहा कला उर्फ देवदह गांव में पुरातत्व विभाग ने अवशेषों को खोजने के लिए टीलों की खोदाई की है। यहां कई आर्कीटैक्टों को खुदाई के दौरान (ऐसी वस्तु, जिसे एक कलाकृति, औजार, निर्माण वस्तु या अन्य किसी प्रयोग से बनाया हो, विशेषकर अगर वह वस्तु पुरातत्व शास्त्र की दृष्टि से महत्व रखती हो) भगवान बुद्ध के समयकाल से जुड़ी चीजें मिली हैं। पर्यटन विभाग के प्रमुख सचिव मुकेश मेश्राम ने मीडिया को बताया कि इस पूरे क्षेत्र का विकास कर इसे एक नए टूरिस्ट स्पॉट के तौर पर विकसित करने की योजना है। भगवान बुद्ध के समय की चीजें मिलने से इस क्षेत्र का धार्मिक महत्व बढ़ा है।

इसके साथ ही यहां पर सोहगीबरवा सेंचुरी होने के कारण जंगल सफारी और इको टूरिजम को भी बढ़ाने में मदद मिलेगी। उन्होंने बताया कि बनर्सिहा कला उर्फ देवदह गांव में मौजूद टीलों का उल्लेख प्राचीन ग्रंथों में आता है। माना जाता है कि गौतम बुद्ध की माता का यह मायका था। मुकेश मेश्राम ने बताया कि साइट म्यूजियम में खोदाई में मिले अवशेषों को आम लोगों और पर्यटकों के देखने के लिए प्रदर्शित किया।

उन्होंने बताया कि प्राचीन बौद्ध साहित्य और चीनी यात्रियों फाह्यान व ह्वेनसांग ने अपने यात्रा वृतांत में देवदह क्षेत्र में भगवान बुद्ध के जीवन यात्रा के संदर्भों में एक महत्वपूर्ण जगह के रूप में बताया है। यहां पर लगभग 35 हेक्टेयर क्षेत्र पर कई टीले और तालाब हैं। यहां की सुंदर प्राकृतिक छटा काफी सुंदर है। साथ ही यहां एक प्राचीन शिवलिंग और भगवान बुद्ध की एक चतुर्भुजाकार मूर्ति भी है।

पर्यटन विभाग शुरू करेगा डिग्री कोर्स

मान्यवर कांशीराम पर्यटन प्रबंध संस्थान में पर्यटन विभाग डिग्री कोर्स शुरू करने की योजना बना रहा है। काशी और अयोध्या के बाद तेजी से श्रद्धालुओं और पर्यटकों की संख्या बढ़ने के साथ टूरिस्ट गाइड की जरूरतों को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है। इसके अलावा पर्यटन विभाग से संबद्ध होटलों के मैनेजमेंट को संभालने के लिए कर्मचारियों की जरूरतों को देखते हुए पर्यटन विभाग डिग्री कोर्स की तैयारी कर रहा है। जल्द ही यहां पर टूरिस्ट गाइड और होटल मैनेजमेंट से जुड़े कई डिग्री कोर्स शुरू हो सकते हैं।

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