तीन साल से कुंडली मार कर सीमावर्ती पुलिस चौकी और थानों पर बैठ हैं कुछ सिपाही और दीवान?

उमेश चन्द्र त्रिपाठी
सोनौली /महराजगंज। भारत-नेपाल की सोनौली सीमा सबसे अतिसंवेदनशील सीमाओं में से एक है। जहां से तस्करी और देश विरोधी तत्वों के घुसपैठ की संभावना हमेशा बनी रहती है। ऐसे में सीमावर्ती थानों और पुलिस चौकी पर कुछ सिपाही लगभग तीन वर्षों से कुंडली मारकर बैठे हुए हैं। वह इस चौकी पर रहकर ऐसी कौन सी चौकसी बरत रहे हैं कि उन्हें इतने दिनों तक इसी चौकी पर रोक कर रखा गया है।

बता दें कि इन तीन सालों में जनपद के दो कप्तान,नौतनवां सर्किल के चार सीओ,सोनौली कोतवाली के चार थाना प्रभारियों और 02-01- 2021से सोनौली पुलिस चौकी के 9 चौकी प्रभारियों का तबादला हो चुका है। दसवें चौकी प्रभारी अनघ कुमार की अभी शीघ्र तैनाती हुई है। ऐसे में सोनौली पुलिस चौकी पर कुछ सिपाही का इतना दिन रहना सभी के समझ से परे है?
वैसे भी पुलिस विभाग में कुछ लोग ऐसे हैं जो काफी दिनों से यहां कुंडली मारकर बैठ कुछ सिपाहियों के बारे में उच्चाधिकारियों को गुमराह करने का काम कर रहे हैं। ऐसे में सवाल उठता लाजिमी है कि आखिर इतने दिनों से इन सिपाहियों की तैनाती एक ही चौकी पर आखिर क्यों। यह एक बड़ा यक्ष प्रश्न है? अब तो ऐसे लोग कुछ दिन और इसी चौकी पर रूकने के लिए आचार संहिता की बाट जोह रहे हैं ताकि उन्हें कम से कम तीन से चार महीने का मौका और मिल जाए। आगामी लोकसभा के चुनाव की आहट शुरू हो गई है।अब तक सीमा पर कुंडली मारकर बैठे कुछ पुलिस कर्मियों की सांसें अटकीं हुई है। ऐसे लोग शीघ्र आचार संहिता का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं।